Friday, October 7, 2011

मंडियों में अब तक हुई एक लाख 10 हजार 777 मीट्रिक टन धान की आवक:कासनी


करनाल काम्बोज/अनेजा
जिला की विभिन्न मण्डियों में गत दिवस तक एक लाख 10 हजार 777 मीट्रिक  टन धान की आवक हो चुकी है जिसमें  ग्रेड ए एक लाख 9 हजार 733 मीट्रिक टन,  सरबती 717 मीट्रिक टन तथा मुच्छल 280 मीट्रिक टन व सामान्य 40 मीट्रिक टन धान शामिल है।
इस सम्बन्ध में जानकारी देते हुए उपायुक्त नीलम प्रदीप कासनी ने बताया कि जिला की विभिन्न मण्डियों में गत दिवस तक की आवक में से सरकारी एजैन्सी खाद्य आपूर्ति विभाग द्वारा 46 हजार 640 मीट्रिक टन, हैफेड द्वारा 40 हजार 651 मीट्रिक टन, एग्रो द्वारा 16 हजार 882 मीट्रिक टन, हरियाणा वेयर हाऊसिंग कार्पोशन द्वारा 2 हजार 560 मीट्रिक टन तथा कान्फेड द्वारा  एक हजार 200 मीट्रिक टन और मिलर्स व डीलर्स द्वारा 2 हजार 837 मीट्रिक टन धान, सरकार द्वारा निर्धारित समर्थन मूल्य पर खरीदी गई है। 
उपायुक्त ने जिला की विभिन्न मण्डियों में अब तक की आवक के बारे में विस्तार से जानकारी देते हुए बताया कि असन्ध मण्डी में 8 हजार 370 मीट्रिक टन,  घरौंडा मण्डी मेें 8 हजार 970 मीट्रिक टन, इन्द्री मण्डी में 19 हजार एक मीट्रिक टन, जुण्डला मण्डी में 7 हजार 528 मीट्रिक टन, करनाल मण्डी में  40 हजार 718 मीट्रिक टन, कुंजपुरा में 7 हजार 870 मीट्रिक टन, नीलोखेड़ी मण्डी में एक हजार 292 मीट्रिक टन, निसिंग में 6 हजार 413 मीट्रिक टन, निगदू मण्डी में एक हजार 355 मीट्रिक टन, तरावड़ी मण्डी में 5 हजार 405 मीट्रिक टन व ब्याना मंडी में 891 मीट्रिक टन  धान की आवक हुई है। जिसे सरकारी खरीद एजैन्सियों तथा मिलर्स व डिलर्स द्वारा खरीदा जा रहा है। 
उपायुक्त नीलम प्रदीप कासनी  ने जिला के किसानो से अपील की है कि वे नमीयुक्त धान को मण्डियों में लेकर नहीं आए बल्कि उसे सुखाकर व साफ करके लाए ताकि उन्हें उनकी फसल बेचने में किसी प्रकार की कठिनाई का सामना न करना पड़े। उन्होने यह भी अनुरोध किया कि किसान मंडियों में ओवरलोडिंग वाहन न लेकर आएं केवल ट्रैक्टर-ट्राली में उतना ही धान भरे जितनी उसकी क्षमता हो। ओवरलोडिंग वाहन से किसी भी अप्रिय घटना के घटित होने की संभावना बढ़ जाती है। 
                                                                                                                                                                            नर सेवा ही नारायण सेवा है:महेंद्र सिंह
करनाल काम्बोज/अनेजा
नायब तहसीलदार करनाल महेन्द्र सिंह ने कहा कि नर सेवा ही नारायण की सेवा है। इसलिए हर गरीब व जरूरतमंद व्यक्ति को बराबर का सम्मान दे तथा उनकी ज्यादा से ज्यादा मदद करे। नायब तहसीलदार स्थानीय मानव सेवा संघ परिसर में आयोजित एक कार्यक्रम में  उपस्थित जनसमूह को सम्बोधित कर रहे थे। इस मौके पर उन्होंने मानव सेवा संघ की ओर से लगभग 250 गरीब व जरूरतमंद महिला एवं पुरूषों को सहयोग राशि व वस्त्र वितरित किये। उन्होंने कहा कि दानवीर कर्ण की नगरी करनाल के लोगों का समाज सेवा के क्षेत्र में अपना एक इतिहास है और आज भी उस परम्परा को निभाया जा रहा है। यहां के लोग समाज सेवा के क्षेत्र में अग्रणीय भूमिका निभाते हैं। जिसके लिए वे बधाई के पात्र हैं।
इस अवसर पर मानव सेवा संघ के संचालक स्वामी प्रेममूर्ति जी ने सभी को आशीर्वाद दिया और संघ की गतिविधियों पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि मानवता की सेवा से बढक़र और कोई दूसरी सेवा नहीं है। प्रेम ही परमात्मा है, सत्य ही जीवन है। उन्होंने कहा शहर के गणमान्य व्यक्ति इस संघ को अपना भरपूर सहयोग दे रहे हैं और यह संघ भी दीन-दुखियों, जरूरतमंदों व गरीब लोगों की सहायता करने के लिए सदैव तत्पर रहता है। इस अवसर पर डाक्टर बालकिशन कौशिक, रश्मि मान, कृष्ण गर्ग, सरदार त्रिलोचन सिंह, विनोद तितोरिया, नीटू मान, प्रवेश गाबा, एम.डी.डी. बाल भवन के संचालक पी.आर.नाथ, रामलाल अग्रवाल, एस.डी.अरोड़ा, संदीप लाठर, कृष्णा चौहान, सूरज प्रकाश अग्गी, कम्बोपुरा के पूर्व सरपंच दर्शन लाल सहित शहर के अनेक गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे। 
                                                                                                                                                                                                                                    प्रतिष्ठानों को खाद्य एवं औषधी प्रशासन से लेना होगा लाईसैंस:शिवकुमार 
करनाल दिनभर राइटर
सिविज सर्जन शिव कुमार ने बताया कि 12 लाख रूपए तक के खाद्य वस्तुओं का व्यापार करने वाले प्रतिष्ठानों को खाद्य एवं औषधी प्रशासन से लाईसैंस लेना होगा तथा रजिस्ट्रेशन करवानी होगी। यदि सम्बन्धित प्रतिष्ठान ऐसा नही करते तो उन्हें जुर्माना व सजा भुगतनी पड़ सकती है। 
उन्होंने बताया कि खाद्य सुरक्षा एवं मानक अधिनियम 2006, 8 अगस्त 2011 से नया अधिनियम लागू हो गया है। इस अधिनियम के तहत सभी खाद्य वस्तुओं का कारोबार करने वाले व्यक्तियों जैसे हलवाई, किरयाना, बेकरी, रेस्टोरैंट, ढाबा, दूध बेचने वाली डेयरी, होटलो, केटरस, कैन्टीन व अन्य भी खाद्य वस्तुओं का कारोबार करने वाले व्यापारियों को खाद्य एवं औषधी प्रशासन से लाईसैंस लेना होगा तथा 12 लाख से कम कारोबारी को रजिस्टे्रशन करवाना होगा। इसके लिए जिले के सिविल सर्जन व खाद्य सुरक्षा अधिकारी से सम्पर्क किया जाए।  

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