बवानीखेड़ा, भिवानी
गांव भैणी जाटान निवासी एक व्यक्ति ने मानवता की हदों को पार कर अपने भाई-भाभी व उनकी नन्हीं बच्ची को कमरे में बंदकर जिंदा जला दिया। मृतकों में सुरेश, उसकी पत्नी पिंकी व बच्ची वंशिका शामिल है। पुलिस ने मृतक सुरेश के सबसे छोटे भाई सन्नी की शिकायत पर उसके बड़े भाई-भाभी व भतीजी को जिंदा जलाकर मारने के आरोप में मंझले भाई के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर आरोपी की तलाश शुरू कर दी है। पुलिस में दी शिकायत में सन्नी ने बताया कि वे तीन भाई व एक बहन है, जिनमें बड़ा सुरेश, मंझला संजय व सबसे छोटा स्वयं सन्नी है तथा उनकी बहन सुदेश है जो शादीशुदा है। सन्नी ने बताया कि वह और उसका बड़ा भाई सुरेश एक साथ रहते है तथा उनका मंझला भाई अलग चौबारे में रहता है। उसने बताया कि बीती रात करीब 10-11 बजे वह अपने बच्चों के साथ अलग कमरे में सोने चला गया, जबकि सुरेश उसकी पत्नी पिंकी व बेटी वंशिका अलग कमरे में सोने चले गए। हमारी माता नन्हीं देवी व ताई खजानी अलग कमरे में सो रहे थीं। उसने बताया कि रात करीब एक बजे उसका दम घुटने लगा। दम घुटने के कारण जब वह बाहर आने की कोशिश करने लगा तो दरवाजा बाहर से बंद मिला। उसने धक्के मारकर दरवाजा खोलकर बाहर आ कर देखा तो उसके मकान में भयंकर आग लगी हुई थी और आस -पड़ोस के लोग आग बुझाने में लगे हुए थे। उसने बताया कि घटना के वक्त सभी कमरों के बाहर से ताले लगे हुए थे। सन्नी ने बताया कि उसके भाई सुरेश के कमरे में गैस की पाइप भी लगी हुई मिली और उसके कमरे में भयंकर आग लगी हुई थी। उसने बताया कि इस आग में उसका बड़ा भाई सुरेश, उसकी पत्नी पिंकी व बेटी वंशिका बुरी तरह से झुलस गई। उनको उपचार के लिए हांसी स्थित सामान्य अस्पताल ले जाया गया, जहां पर सुरेश व उसकी पुत्री वंशिक ने दम तोड़ दिया, जबकि उसकी पत्नी ने रोहतक पीजीआई में दम तोड़ दिया। सन्नी ने यह भी बताया कि भाईयों के बीच पैसे के लेन-देन को लेकर विवाद चल रहा था। उन्होंने बताया कि घटना का आरोपी संजय जोकि चौबारे में रहता था, वह घटना के बाद गायब मिला। सन्नी की शिकायत पर पुलिस ने उसके बड़े भाई-भाभी व भतीजी को जिंदा जलाकर मारने के आरोप में मंझले भाई संजय के खिलाफ मामला दर्ज कर आरोपी की तलाश शुरू कर दी।
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